रूसी वायु सेना में शामिल हुआ एमआई-26 का नया वेरिएंट (New variant of Mi-26 joins Russian Air Force
रूसी एयरोस्पेस फोर्सेज को दुनिया के सबसे बड़े और सबसे शक्तिशाली हेवी-लिफ्ट हेलीकॉप्टर Mi-26 का आधुनिक वेरिएंट प्राप्त हुआ है। T2V नाम के इस वेरिएंट में नया इंजन, इलेक्ट्रॉनिक्स, एवियोनिक्स, एक उन्नत कम्यूनिकेशन सूट, नेविगेशन उपकरण, बेहतर एर्गोनॉमिक्स, बेहतर पायलट इंफ्रास्ट्रक्चर और नवीनतम सैटेलाइट कम्यूनिकेशन उपकरण लगे हुए हैं।
भारत ने भी एमआई 26 को किया है ऑपरेट (India has also operated MI 26)
भारत ने भी रूस से तीन एमआई 26 हेलीकॉप्टरों को 1986 में खरीदा था। हालांकि, पुर्जों की कमी और लॉजिस्टिक मुद्दों के कारण ये हेलीकॉप्टर फिलहाल सर्विस से बाहर हैं।
रूसी सेना को एमआई-26 का कौन का वेरिएंट मिला (Which variant of MI-26 did the Russian Army get)
रूसी वायु सेना को मिले एमआई-26 के नए वेरिएंट का नाम Mi-26T2V है।एमआई-26 हेलीकॉप्टर के दो वेरिएंट पहले से ही रूस के पास हैं, जिनके नाम क्रमश Mi-26 और दूसरे का नाम Mi-26T2 है।
एमआई-26 के नाम 14 अंतरराष्ट्रीय रिकॉर्ड (Mi-26 holds 14 international records)
एमआई-26 हेलीकॉप्टर ने अब त 14 अंतरराष्ट्रीय रिकॉर्ड बनाए हैं, जिनमें 4,100 मीटर की ऊंचाई तक 25 टन वजन, 4,600 मीटर की ऊंचाई तक 20 टन वजन, 5,600 मीटर की ऊंचाई तक 15 टन वजन उठाना और 6,400 मीटर की ऊंचाई तक 10 टन वजन उठाना शामिल है।एमआई-26 दुनिया का सबसे शक्तिशाली हेलीकॉप्टर
रोसिय्स्काया गजेटा की एक रिपोर्ट के अनुसार, रूसी सेना को एक Mi-26T2V प्राप्त हुआ है। रूसी एयरोस्पेस फोर्सेज के प्रमुख इगोर रोमानोव ने कहा कि एक एमआई 26 हेलीकॉप्टर हथियारों के पूरे सेट के साथ 82 पैराट्रूपर्स को उठा सकता है।
एमआई 26 के पहले वेरिएंट से कितना उन्नत है T2 वैरिएंट (How advanced is the T2 variant from the first variant of Mi 26)
एमआई 26 का दूसरा वेरिएंट T2 प्रारंभिक वैरिएंट Mi-26T से काफई उन्नत है। इसमें एक ग्लास कॉकपिट है जिसमें पांच मल्टीफंक्शनल कलरफुल एलसीडी, कंट्रोल पैनल, इलेक्ट्रोमैकेनिकल उपकरण और एक अधिक आधुनिक डिजिटल कम्यूनिकेशन सूट मौजूद है। इसे उड़ाने के लिए तीन क्रू की जरूरत होती है।
Mi-26T2V दूसरे वेरिएंट से कितना उन्नत (How advanced is Mi-26T2V compared to other variants)
अत्याधुनिक Mi-26T2V में और भी अधिक उन्नत एवियोनिक्स सिस्टम का इस्तेमाल किया गया है। नया नेविगेशन सिस्टम स्वचालित उड़ान की अनुमति देता है। इसके अलावा, Mi-26T2V को विटेबस्क एयरबोर्न डिफेंस कॉम्प्लेक्स, नाइट विजन गॉगल्स और नई गर्मी को सोखने वाली सीटें भी लगी हुई हैं।
Mi-26T2V पर मिसाइल हमले का भी असर नहीं (Missile attack also has no effect on Mi-26T2V)
Mi-26T2V हेलीकॉप्टर को एंटी एयरक्राफ्ट मिसाइलों से बचाने का भी बेहतरीन उपाय किया गया है। इसमें विटेबस्क-25 इलेक्ट्रॉनिक वारफेयर (ईडब्ल्यू) सिस्टम को लगाया गया है। Mi-26T2V पीछे से दागे जाने वाले मिसाइलों से ही नहीं, बल्कि हीट सीकिंग मैन-पोर्टेबल एयर डिफेंस (MANPAD) को जाम और भटका सकता है।
भारत में बेकार पड़े हुए हैं एमआई-26 हेलीकॉप्टर (Mi-26 helicopters are lying idle in India)
एमआई-26 हेलीकॉप्टरों का संचालन चंडीगढ़ में भारतीय वायु सेना के 126 हेलीकॉप्टर यूनिट करती थी। ये हेलीकॉप्टर अब इसी यूनिट के बेस पर मेंटीनेंस और पार्ट्स की कमी के कारण धूल फांक रहे हैं।
भारत ने कब किया था एमआई 26 का आखिरी इस्तेमाल (When did India last use MI 26)
भारत ने आखिरी बार एमआई-26 का इस्तेमाल सितंबर 2014 में कश्मीर बाढ़ के दौरान किया था। इस दौरान हेलीकॉप्टरों ने भारी मशीनरी से लेकर राहत सामग्री तक सब कुछ पहुंचाया था। इस विमान ने कारगिल युद्ध के दौरान जम्मू-कश्मीर, मध्य भारत के मैदानी इलाकों और कच्छ के समुद्र में कई ऑपरेशनों को अंजाम देकर अपनी अलग पहचान बनाई है।
भारत के पास अभी कौन सा हैवी लिफ्ट हेलीकॉप्टर (Which heavy lift helicopter does India currently have)
भारत ने रूसी एमआई 26 की जगह पर अमेरिका से CH-47 चिनूक की खरीद की है। चिनूक क्षमता में एमआई 26 से कम भार उठा सकता है, लेकिन इसके बाकी उपकरण काफी अडवांस हैं